
जैसे-जैसे उत्तर भारत में सर्दी बढ़ रही है, वैसे-वैसे विद्यार्थियों और अभिभावकों में एक ही चर्चा है “स्कूल की सर्दियों की छुट्टियाँ कब शुरू होंगी?” हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में हल्की बर्फबारी और बारिश के बाद ठंड तेजी से बढ़ी है, और अब इसका असर उत्तर प्रदेश समेत आसपास के राज्यों पर भी दिखने लगा है।
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उत्तर भारत में बढ़ी ठंड की लहर
पिछले कुछ दिनों से हिमालयी क्षेत्रों में लगातार तापमान गिर रहा है। उत्तराखंड और हिमाचल में बर्फबारी के चलते तापमान न्यूनतम स्तर पर पहुंच गया है। वहीं, इन राज्यों से गुजरने वाली ठंडी हवाएँ अब उत्तर प्रदेश, दिल्ली और हरियाणा की ओर बढ़ रही हैं। मौसम विभाग ने कई जिलों में कोहरे और शीतलहर का अलर्ट जारी किया है।
इस भीषण ठंड के चलते खासकर छोटे बच्चों और छात्रों के स्वास्थ्य पर असर पड़ने की संभावना होती है, इसलिए हर साल की तरह इस बार भी राज्य सरकार विंटर वेकेशन यानी सर्दियों की छुट्टियों की घोषणा करने की तैयारी में है।
यूपी में विंटर वेकेशन की संभावित तारीखें
शिक्षा विभाग ने अभी तक आधिकारिक तारीख की घोषणा नहीं की है, लेकिन मौसम और पिछले वर्ष के पैटर्न को देखते हुए अनुमान है कि इस बार छुट्टियाँ 25 दिसंबर के बाद से शुरू हो सकती हैं। बीते वर्ष उत्तर प्रदेश के कई जिलों में सर्दी का असर ज़्यादा रहने के कारण छुट्टियों की अवधि बढ़ा दी गई थी।
2024-25 के सत्र में अधिकतर प्राइमरी और जूनियर हाईस्कूलों में 31 दिसंबर से लेकर 11 जनवरी तक अवकाश रखा गया था। उम्मीद है, इस बार भी छुट्टियाँ करीब 10 से 15 दिनों तक चलेंगी। हालाँकि, अंतिम निर्णय मौसम के हालात और शिक्षा विभाग की अधिसूचना पर निर्भर करेगा।
अलग-अलग राज्यों में छुट्टियों का शेड्यूल
सर्दियों का असर हर राज्य में अलग होता है, इसलिए विंटर वेकेशन की अवधि भी भिन्न रहती है। पिछले साल विभिन्न राज्यों में छुट्टियाँ इस प्रकार थीं –
| राज्य | छुट्टियों की अवधि |
|---|---|
| उत्तर प्रदेश | 31 दिसंबर – 11 जनवरी |
| दिल्ली | 1 जनवरी – 15 जनवरी |
| हरियाणा | 1 जनवरी – 15 जनवरी |
| पंजाब | 24 दिसंबर – 31 दिसंबर |
| राजस्थान | 25 दिसंबर – 5 जनवरी |
इन आंकड़ों से साफ है कि उत्तरी राज्यों में ठंड की तीव्रता के अनुसार छुट्टियों का निर्धारण किया जाता है।
छात्रों और अभिभावकों में उत्साह
छात्रों के बीच सर्दियों की छुट्टियाँ सबसे पसंदीदा समय होती हैं। कई परिवार इस दौरान बच्चों को रिश्तेदारों के घर या किसी सैर-सपाटे पर ले जाने की योजना बनाते हैं। इसके अलावा, सर्दी के मौसम में सुबह स्कूल जाना बच्चों के लिए चुनौतीपूर्ण हो जाता है। खासकर छोटे बच्चों के माता-पिता चाहते हैं कि उन्हें ठंड से बचाने के लिए स्कूलों में छुट्टियाँ जल्दी घोषित की जाएँ।
इस छुट्टी के दौरान बच्चे घर पर रहकर पढ़ाई के साथ-साथ मनोरंजन का भी आनंद लेते हैं जैसे पतंग उड़ाना, गर्मागर्म पराठे खाना और परिवार संग मूवी नाइट्स मनाना।
स्कूल प्रबंधन की तैयारियाँ
प्रदेश के कई जिलों में स्कूल शिक्षक और प्रबंधन भी इस बात को लेकर तैयारी में जुट गए हैं कि छुट्टियों के दौरान ऑनलाइन पुनरावृत्ति (revision assignments) भेजे जाएँ ताकि छात्रों का अध्ययन प्रभावित न हो। साथ ही, शिक्षा विभाग ने सख्त निर्देश दिए हैं कि ठंड बढ़ने की स्थिति में स्कूल सुबह की पाली में जल्द न खोले जाएँ और बच्चों को सुरक्षित रखने के उपाय अपनाए जाएँ।
सर्दियों की छुट्टी क्यों जरूरी है
सर्दियों में तापमान गिरने से न केवल ठंड बढ़ती है बल्कि बच्चे आसानी से सर्दी-जुकाम, फ्लू या बुखार जैसी बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं। इसलिए शिक्षा विभाग हर साल मौसम की तीव्रता के अनुसार अवकाश घोषित करता है। इससे बच्चों को ठंड से बचाव का समय मिलता है और विद्यालयों को भी हीटिंग सुविधाओं की व्यवस्था करने का अवसर मिलता है।
क्या इस बार छुट्टी लंबी होगी?
मौसम विभाग के अनुसार इस बार दिसंबर के आखिरी हफ्ते से जनवरी के पहले दो हफ्तों तक ठंड का असर अधिक रहने की संभावना है। ऐसे में यह संभव है कि सरकार छुट्टियाँ पिछले साल से कुछ दिन पहले या अधिक अवधि के लिए घोषित करे।अभिभावक शिक्षा विभाग की वेबसाइट और स्थानीय अधिकारियों की सूचनाओं पर नजर बनाए रखें ताकि आधिकारिक घोषणा होते ही वे बच्चों की योजना बना सकें।
















