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BJP की संपत्ति में जबरदस्त उछाल! 11 साल में बैंक बैलेंस बढ़ा अरबों में, आंकड़े जानकर चौंक जाएंगे

चौंकाने वाला खुलासा! बीजेपी की संपत्ति 2012 से अब तक कई गुना बढ़ी, बैंक खातों में जमा रकम अरबों में पहुंची। आखिर इतनी तेजी से कैसे बढ़ी पार्टी की संपत्ति? जानिए पूरे आंकड़े और पीछे की कहानी!

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भारतीय जनता पार्टी ने पिछले एक दशक से ज्यादा समय में अपनी आर्थिक ताकत को कई गुना बढ़ा लिया है। जहां 2014 में पार्टी के खातों में कुछ सौ करोड़ रुपये थे, वहीं आज यह आंकड़ा दस हजार करोड़ से ऊपर पहुंच चुका है। यह जबरदस्त उछाल पार्टी की संगठनात्मक क्षमता और व्यापक समर्थन आधार को दर्शाता है, जो राजनीतिक परिदृश्य में एक बड़ा बदलाव ला रहा है।

BJP की संपत्ति में जबरदस्त उछाल! 11 साल में बैंक बैलेंस बढ़ा अरबों में, आंकड़े जानकर चौंक जाएंगे

शुरुआती दौर से आज तक का सफर

2014 के आसपास भाजपा के बैंक बैलेंस में करीब 300 करोड़ रुपये थे। अगले कुछ वर्षों में यह तेजी से बढ़ा और 2019 तक 3500 करोड़ के पार पहुंच गया। अब 2024-25 के आंकड़ों के अनुसार, यह 10,000 करोड़ से अधिक हो चुका है। कुल मिलाकर 11 सालों में लगभग 34 गुना की ग्रोथ हुई है, जो किसी भी राजनीतिक दल के लिए असाधारण है। यह वृद्धि चुनावी तैयारियों, संगठन विस्तार और राष्ट्रव्यापी अभियानों को मजबूत करने में सहायक रही।

अन्य दलों से तुलनात्मक नजरिया

कांग्रेस जैसे प्रमुख विपक्षी दल का बैंक बैलेंस इसी दौरान घटकर 100-150 करोड़ के आसपास सिमट गया। भाजपा का फंड अब अन्य दलों से कई दर्जे ऊपर है, खासकर कैश और बैंक डिपॉजिट में। यह अंतर राजनीतिक फंडिंग के तरीकों और समर्थकों की संख्या में भिन्नता को स्पष्ट करता है। भाजपा की मजबूत वित्तीय स्थिति ने उसे बड़े पैमाने पर प्रचार और विकास कार्यों में बढ़त दिलाई है।

वर्षभाजपा बैलेंस (करोड़ में)कांग्रेस बैलेंस (करोड़ में)
2014295390
20193562315
202410107133

वृद्धि के पीछे प्रमुख कारक

पार्टी की आय मुख्य रूप से स्वैच्छिक दान, सदस्यता शुल्क और निवेश के ब्याज से आ रही है। विशेष रूप से इलेक्टोरल बॉन्ड जैसी योजनाओं ने बड़े दाताओं को आकर्षित किया, जिससे 2023-24 में ही अरबों रुपये का इजाफा हुआ। इसके अलावा, पार्टी के व्यस्त चुनावी कैलेंडर और राज्य स्तर पर जीतों ने फंड जुटाने को गति दी। संगठन की पहुंच ग्रामीण इलाकों तक बढ़ने से छोटे-बड़े दानकर्ताओं की संख्या में इजाफा हुआ।

राजनीतिक प्रभाव और भविष्य की संभावनाएं

यह आर्थिक मजबूती भाजपा को लंबे समय तक सत्ता में बने रहने का हथियार दे रही है। बड़े फंड से डिजिटल कैंपेन, रैलियां और कार्यकर्ता प्रशिक्षण आसान हो जाता है। हालांकि, इससे विपक्ष के लिए चुनौती बढ़ गई है, जो फंडिंग में असमानता की बात उठा रहा है। आने वाले चुनावों में यह ताकत भाजपा को और मजबूत कर सकती है, लेकिन पारदर्शिता पर सवाल भी खड़े हो रहे हैं। कुल 500 शब्दों के इस विश्लेषण से साफ है कि वित्तीय ग्रोथ राजनीति का नया खेल बदल रही है।

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